
समग्र शिक्षा के लगभग दस करोड़ के प्लास्टिक फर्नीचर को अभी स्कूलों तक पहुंचने के लिए और इंतजार करना पड़ेगा। उक्त टेंडर को लेकर फिर से शुधिपत्र निकला है। जिसमें कारण त्योहार के बारे में होना भी बताया गया है। फिलहाल अब ये इंतजार किया जा रहा है कि इस टेंडर को आखिर अमलीजामा कब तक चढ़ाया जा सकेगा। गौर हो कि अब स्कूल भी खुल गए है।

जानकारी के मुताबिक करीब आठ मर्तबा टेंडर को लेकर शुधिपत्र जारी करने के बाद अब टेंडर की प्रक्रिया शुरू भी कर दी गई थी । जिसे अब फिर से नवां कॉरिजेंडम निकाला गया है।सरकार की साइट पर भी इसे चढ़ा दिया गया है।

हैरानी है कि समग्र शिक्षा अभी तक प्राइमरी स्कूलों के लिए प्लास्टिक फर्नीचर खरदीरारी को लेकर एक अहम टेंडर फाइनल ही नहीं कर पाया था । जानकारी के मुताबिक ये लगभग दस करोड़ का टेंडर है। जिसे पूरा करते करते लगभग समग्र शिक्षा कई कोरीजेंडम निकाल चुका था। अब इसे लेकर शिक्षा जगत में खूब हैरानी जताई जा रही है। और सवाल भी उठने लगे थे।
बताया जा रहा है कि बीते लगभग दो वर्ष पहले ही ये फर्नीचर स्कूलों के लिए उपलब्ध करवा दिया जाना चाहिए था। लेकिन यदि कोविड से भले ही कुछ प्रक्रिया में देरी हो भी गई हो लेकिन अब प्लास्टिक फर्नीचर खरीद में टेंडर प्रक्रिया में ये देरी स्कूलों के लिए एक चिंता का विषय जरूर बन गई हैं क्योंकि अब स्कूल भी खोल दिए गए हैं।
फिलहाल अब चर्चा तो यह भी खूब है कि 2 वर्ष पहले जहां पर प्रति कुर्सी की कीमत कम होनी थी वहीं महंगाई दर बढ़ने के कारण अब इस कुर्सी को महंगी दरों पर अब स्वाभाविक तौर पर प्राप्त करना होगा। यह भी तस्वीर साफ नजर आ रही है कि स्कूल खोल दिए गए हैं और यदि प्री प्राइमरी में पहली कक्षा और उसे छोटे बच्चों के स्कूल भी खोल दिया जाए तो उन्हें बैठने की काफी दिक्कत स्कूलों में हो सकती है। यही इंतजार किया जा रहा है की अब शुद्धि पत्र ना निकले और जल्द से जल्द सरकारी स्कूलों में इसकी खरीदारी हो जाए जिसका स्कूल भी काफी समय पहले से इंतजार कर रहे हैं।
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ये उठे है सवाल
अब सवाल ये भी उठाए जा रहे ही है कि जब सैंपल ले लिए गए है आगामी कार्रवाई में देरी क्यों? सवाल ये भी उठ रहा है कि त्यौहार सीजन के कारण फिर से कोरोजेंडम आखिर क्यूं निकाला गया है। इसका मुख्यत कारण क्या रहा है इसे लेकर शिक्षा जगत में सुबसुबाहट होने लगी है , की फिर से इस शुधिपत्र को निकालने की जरूरत आखिर क्यूं पड़ी।



