विशेषस्वास्थ्य

EXCLUSIVE: कोविड काल में स्किजियोफ्रेनिया के अटैक

दवाएं बीच में छोड़ने के कारण आई परेशानी  , लक्षण हो तो मनोचित्सक का सहारा जरूर लें, डॉक्टर्स की हिदायद इस रोग पर तनाव न पालें

 

क्या आपको भी भूत या देवी देवता नजर आते हैं या किसी के बातें करने की आवाजें कानों में आती है। या आपको कभी यह लगता है कि आपके कान में कोई और शख्स आपके खिलाफ कुछ बातें कर रहा है। तो घबराए नहीं यह लक्षण 

स्किजियो फ्रेनिया के है। आज अंतरराष्ट्रीय स्कीज्योफ्रीनिया जागरूकता दिवस मनाया गया। इसे लेकर हिमाचल में भी आईजीएमसी के मनो विभाग के अध्यक्ष डॉ दिनेश दत्त ने जनता को जागरूक करने के लिए एक पोस्टर के माध्यम से स्कीज्यो फ्रेनिया के बारे में बताया।

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असर न्यूज़ ने भी डॉक्टर दिनेश दत्त से इस रोग के बारे में जानना चाहा। उन्होंने कहा कि साल भर में हिमाचल में सैकड़ों मामले स्कीजियोफ्रेनया के सामने आते हैं। जिसमें कई नए भी होते हैं ।इस रोग के कई भाग भी है लेकिन गंभीर अवस्था उस समय हो जाती है जब मरीज बीच में ही दवाई छोड़ देता है या फिर लक्षण होने के बावजूद भी झाड़ फूंक का सहारा लेता है।  कोविड काल में भी कुछ मरीज ऐसे हैं जो समय पर डॉक्टर से संपर्क नहीं कर पा रहे हैं हालांकि आईजीएमसी के मनों विभाग ने सभी मरीजों से कांटेक्ट करके उनकी काउंसलिंग की है और उन्हें दवाएं देने का काम भी जारी रखा है लेकिन कुछ मरीज अभी भी ऐसे हैं जिन्हें दवाई बीच में छोड़ने के कारण दोबारा से इस रोग के अटैक आ रहे हैं।

 

 इसके लिए यह भी जरूरी है कि मरीज अपनी दवाई बीच में ना छोड़े और समय पर अपने चिकित्सक के साथ संपर्क करें उन्हें दवाएं भी समय पर भिजवाई जा रही है। स्कीजियोफ्रेनीया मैं कई लक्षण ऐसे नजर आते हैं। जिसमें कई बार मरीज को लगता है कि उसके बारे में कोई गलत बातें कर रहा है या फिर उसे कोई मारना चाहता है ।कई बार यह भी मरीज के साथ देखने में आता है कि मरीज को कुछ ऐसी चीजें नजर आती है जो असल में नहीं होती है जिसमें कई बार भूत जैसी आकृति वाले लोग भी नजर आते हैं। डॉ दिनेश का कहना है कि घबराने की जरूरत नहीं है लेकिन मरीज को डॉक्टरी सलाह जरूर लेनी चाहिए।

Deepika Sharma

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