असर विशेष: रेन शेल्टर बने शराबखाने, प्रशासन मौन
महिलाओं के लिए असुरक्षित हो रहे सार्वजनिक स्थान

शिमला, दिनांक 15 अक्तूबर:
शिमला शहर के कई रेन शेल्टर अब पियक्कड़ों के ठिकाने बन चुके हैं। पुराने बस अड्डे में बने रेन शेल्टर की यह तस्वीर साफ़ दिखा रही है कि वहां शराब की बोतलें और गिलास खुलेआम पड़े हैं। रात के समय कोई भी महिला यहां बैठने से हिचकिचाती है।

स्थानीय निवासी कृष्ण लाल का कहना है, “यहां रात को शराब पीने वालों की भीड़ लग जाती है। सुबह आते ही गंदगी और टूटे बोतल के टुकड़े दिखाई देते हैं। प्रशासन को इसकी सुध तक नहीं।”
वहीं संगीता शर्मा, जो रोज़ बस का इंतज़ार इसी शेल्टर में करती हैं, कहती हैं — “हम महिलाएं डर के मारे शाम के बाद यहां नहीं रुकतीं। प्रशासन को ऐसे लोगों पर कार्रवाई करनी चाहिए।”
स्थानीय लोगों का कहना है कि उन्होंने कई बार पुलिस को सूचना दी, लेकिन स्थिति हमेशा जस की तस है
शहर के अन्य हिस्सों — जैसे कि टूटू, — के रेन शेल्टर में भी यही हाल देखने को मिल रहा है।
संबंधित प्रशासन की लापरवाही से ये सार्वजनिक आश्रय स्थल अब असामाजिक तत्वों के अड्डे बनते जा रहे हैं। नागरिकों ने मांग की है कि पुलिस गश्त बढ़ाई जाए, सीसीटीवी लगाए जाएं और इन शेल्टरों की नियमित सफाई हो।




