EXCLUSIVE: दवा रिकॉर्ड के लिए भेजे लाखों के उपकरण, रखे रखे हो रहे बेकार
शिमला ड्रग इंस्पेक्टर कार्यालय के लिए भेजे गये है कंप्यूटर , प्रिंटर, लगाने के लिए जगह ही नहीं

इससे बड़ी हैरानी और क्या हो सकती है कि शिमला ड्रग इंस्पेक्टर कार्यालय के लिये सरकार द्वारा लाखों के उपकरण भेजे गये है वो कई माह से इस्तेमाल ही नहीं हो पाय है । कारण सिर्फ़ इतना है कि इसे रखने के लिये जगह ही नहीं है ।
एक संकरा कमरा है उसी जगह फाइलस भी रखी गई है और बाक़ी ख़ाली जगह में ड्रग इंस्पेक्टर भी बैठते हैं
शिमला में दो ड्रग इंस्पेक्टर कार्यरत है जिन्हें समय समय पर दवा रिकॉर्ड रखना पड़ता है जिसके लिये तकनीकी व्यवस्था ज़रूरी है।लेकिन रिप्पन अस्पताल में बने इस छोटे से कार्यालय में लाखों के उपकरण रखे रखे ही बेकार हो रहे है ।यही नहीं कुर्सी मेज़ भी दिए गए हैं लेकिन आख़िर इन्हें रखे किधर? 

जानकारी मिली है कि ज़िला सीएमओ को भी कई बार एक बड़े कमरे की गुहार लगाई गई है लेकिन अभी तक इस और कोई हल होता नहीं दिखता है । फिर ऐसे में लाखों के उपकरण आयें है इसे रखने की जगह भी नहीं हो पाई है ।
हर माह शिमला के दवा दुकानों (सरकारी और निजी ) संस्थानों में छापेमारी की जाती है जिसमें दवा सैंपल उठाए जाते हैं जो जाँच के लिए संबंधित लैब में भेजे जाते है और इसके बाद आगामी कार्रवाई की जाती है ।जिसमें कई बाद नोटिस भी जारी किए जाते हैं और ताकि बार licence भी cancel करने पड़ते हैं
इसका रिकॉर्ड रखना आवश्यक इसलिए भी रहता है क्योंकि संबंधित जाँच के बाद कई बार केस कोर्ट में चला जाता है।इसके मद्देनज़र कई बार आगामी कार्रवाई करनी पड़ती है। लेकिन इसे लेकर है जो उपकरण दिए गए वह मजबूरी में बंद रखने पड़ रहे है । अब एसे में सम्बंधित ड्रग इंस्पेक्टर करे भी क्या? जब उन्हें उचित जगह ही इन उपकरणों को रखने के लिए नहीं दी गई है।
देखिए तस्वीर में छिपी सच्चाई …


