संस्कृति

स्वाधीनता से स्वतंत्रता की ओर : कलाएं एवं कलाकार

आजादी के अमृत महोत्सव के तहत केंद्रीय संस्कृति मंत्रालय द्वारा देशभर के विभिन्न राज्यों में आयोजित किए जा रहे कार्यक्रमों के तहत शिमला के क्षेत्रीय केंद्र गेयटी परिसर की कला दीर्घा में आज दिनांक 13 अगस्त, 2022 को एक व्याख्यान का आयोजन किया गया। जिसका विषय था स्वाधीनता से स्वतंत्रता की ओर : कलाएं एवं कलाकार।

No Slide Found In Slider.

आज के व्याख्यान के व्याख्याता श्रीनिवास जोशी जी जो कि पूर्व प्रशासनिक अधिकारी साथ ही एक प्रसिद्ध साहित्यकार एवं मंचीय कलाकार हैं उन्होंने आज इस विषय पर अपना व्याख्यान दिया तथा इस व्याख्यान में उन्होंने कहा कि भारतीय कला सदैव ही सत्यम शिवम सुंदरम की द्योतक रही है ऐसी भारतीय कलाएं सदैव ही कल्याणकारी सिद्ध हुई है उन्होने वताया कि औपनिवेशिक काल से पूर्व जिस प्रकार से भारतीय कलाएं अपने चरम पर रहीं हैं उसी प्रकार से आजादी मिलने के पश्चात भारतीय कलाएं अपना उत्थान अपने चरम सीमा तक पहुंच पा रही है। उन्होंने कहा कि पहाड़ी लघु चित्रकला शैली को भी समकालीन कलाओं के साथ खड़ा होने की आवश्यकता है। आज के कार्यक्रम के मुख्य अतिथि डॉक्टर नंदलाल ठाकुर उपाध्यक्ष ललित कला अकादमी है उनके द्वारा इस अवसर पर प्रदेश के युवा चित्रकारों को आश्वस्त किया गया कि अकादमी भारतीय समकालीन तथा परंपरागत कलाओं के उत्थान एवं संरक्षण हेतु लगातार प्रयास कर रही है। इसके लिए आजादी के अमृत महोत्सव के तहत देश के अलग अलग राज्यों में आजादी के आंदोलन में सम्मिलित गुमनाम नायकों, आंदोलन की घटनाओं, आंदोलन के संस्थान एवं स्थानों का चित्रण कर देश के सामने लाने का प्रयास अकादमी द्वारा किया जा रहा है।

Related Articles

Back to top button
Close