वायरल संक्रमण: बदलते मौसम में बढ़ी बीमारियाँ, अस्पतालों में 70% मरीज वायरल के

— जसवीर सूद की रिपोर्ट
सर्द मौसम दस्तक दे चुका है—सुबह-शाम की ठंड, दोपहर की चटख धूप और दिनभर मौसम में उतार-चढ़ाव। इसी अनिश्चित मौसम ने वायरल संक्रमण के मामलों में अचानक उछाल ला दिया है। जिला अस्पतालों में रोज़ाना 70% तक मरीज वायरल रोगों से पीड़ित मिल रहे हैं। बच्चों और बुजुर्गों में इसका असर और ज्यादा दिख रहा है—खांसी, बुखार और सांस लेने में दिक्कत सबसे आम लक्षण हैं।
अस्पतालों के अलावा डिस्पेंसरीज़ में भी रोज़ 5 से 6 नए वायरल संक्रमण के मरीज पहुंच रहे हैं। आयुर्वेदिक चिकित्सक डॉ. मनीष सूद बताते हैं कि बदलता मौसम वायरस के लिए अनुकूल माहौल तैयार करता है, इसलिए संक्रमण तेजी से फैल रहा है।
🩺 डॉक्टर सूद की खास सलाह — बचाव ही सबसे बड़ी दवा
एंटीबायोटिक का प्रयोग न करें, क्योंकि वायरस पर ये असर नहीं करतीं।
संक्रमित व्यक्ति को अधिक आराम दें।
उबला हुआ पानी पिलाएं।
नमक वाले गुनगुने पानी व हल्दी वाले पानी से गरारे करवाएं।
डॉ. सूद बताते हैं कि संक्रमित व्यक्ति को हल्का सुपाच्य भोजन लेना चाहिए—मूंग दाल, सरल सूप, खिचड़ी, उबला आलू, ब्रेड-जैम, हल्की चाय आदि।
भारी खाना, तली चीजें, छिलके वाली दालें और ठंडे पेय बिलकुल न दें।
🏠 घर पर राहत देने वाले उपाय
डॉ. सूद के मुताबिक, घर में उपलब्ध साधारण चीजें भी मरीज को काफी राहत दे सकती हैं:
तुलसी–अदरक वाली हर्बल चाय
बनफ़सा का काढ़ा
खिचड़ी
उबले आलू
दलिया (बिना दूध)
हरी सब्जियाँ
अल्कोहल से पूरी तरह परहेज
घी-तेल और मसालेदार भोजन से दूरी
मरीज के शरीर में पानी की पर्याप्त मात्रा बनाए रखने के लिए ORS, इलेक्ट्रोलाइट्स, नारियल पानी बेहद उपयोगी हैं।
🌡️ सावधानी ही सुरक्षा
डॉक्टरों का कहना है कि यदि इन घरेलू उपायों और सावधानियों को अपनाया जाए, तो अधिकांश मामलों में मरीज को घर पर ही आराम मिल सकता है और अस्पताल जाने की जरूरत कम पड़ती है। बदलते मौसम में खुद को सुरक्षित रखना आज की सबसे महत्वपूर्ण जरूरत बन गया है।
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