बजट के लिए “कर्मचारियों की मांगें”

अराजपत्रित कर्मचारी महासंघ जिला शिमला अध्यक्ष भरत शर्मा तथा महासचिव नारायण हिमराल ने कहा कि प्रदेश के कर्मचारियों की समस्याओं को सुलझाने हेतु बजट में उचित प्रावधान की व्यवस्था हेतु माननीय मुख्यमंत्री से उम्मीद जताई है कि बजट में कर्मचारियों की समस्याओं के निदान हेतु उचित प्रावधान किया जाएगा।
कर्मचारियों की मांगें इस प्रकार हैं:
– *रिक्त पदों की जल्द भर्ती*: विभिन्न विभागों के कामकाज को सुचारू रूप से चलाने के लिए सभी रिक्त पदों को जल्द भरना।
– *कॉन्ट्रैक्ट कर्मचारियों का नियमितीकरण*: दो वर्ष पूर्ण कर चुके कॉन्ट्रैक्ट कर्मचारियों के नियमितीकरण हेतु पूर्व की भांति वर्ष में दो बार रेगुलर करना।
– *बकाया मंहगाई भत्ता और वेतन विसंगति*: बकाया मंहगाई भत्ते की अदायगी, वर्ष 2016 के वेतन आयोग के अनुसार बकाया राशि का तुरंत भुगतान और विभिन्न विभागों के विभिन्न वर्गों में वेतन विसंगति को जल्द दूर करना।
– *पुरानी पेंशन का प्रावधान*: हिमाचल प्रदेश विद्युत निगम, जिला परिषद तथा अन्य छूटे विभागों के लिए पुरानी पेंशन का प्रावधान।
– *सेवानिवृत्ति की आयु बढ़ाना*: सभी चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों की सेवानिवृत्ति की आयु 58 से बढ़ाकर 60 वर्ष करना।
– *पद नाम बदलना और जल रक्षक का अनुबंध*: विभिन्न विभाग के विभिन्न वर्गों के पद नाम बदलना, वेटरनरी फार्मासिस्टों का पदनाम बदलने की मांग और जल रक्षक का अनुबंध में शामिल करने के लिए अवधि 12 वर्ष से घटाकर 8 वर्ष करना।
– *आवास भत्ता बढ़ाना और विभागीय पदोन्नती*: आवास भत्ते में लंबे समय से वृद्धि न होने के कारण विभिन्न कर्मचारी वर्ग का आवास भत्ता बढ़ाने की मांग और विभागीय पदोन्नती समय पर करना।
– *मिड डे मील वर्कर और आंगनवाड़ी सहायिका के लिए स्थाई नीति*: मिड डे मील वर्कर, आंगनवाड़ी सहायिका के लिए स्थाई नीति, आउटसोर्स कर्मचारी के लिए स्थाई नीति, मल्टी टास्क कर्मी तथा पंचायत वेटेरिनरी असिस्टेंट के लिए स्थाई नीति आदि अन्य मांगो के लिए बजट में प्रावधान किया जाएगा ऐसी उम्मीद प्रदेश के लाखों कर्मचारियों को सरकार से है l

