घरेलू बिजली पर मिलने वाली सब्सिडी को बन्द करने के सरकार के निर्णय की सराहना

हिमाचल प्रदेश अराजपत्रित कर्मचारी सेवाएं महासंघ ने प्रदेश के सम्पन्न वर्गों, प्रशासनिक अधिकारियों, श्रेणी एक व दो के अधिकारियों, टैक्स दाताओं व मंत्री-विधायकों की घरेलू बिजली पर मिलने वाली सब्सिडी को बन्द करने के सरकार के निर्णय की सराहना की है। अराजपत्रित कर्मचारी सेवाएं महासंघ के राज्य उपाध्यक्ष एवं जलशक्ति विभाग एनजीओ के प्रदेशाध्यक्ष एल ड़ी चौहान ने कहा कि प्रदेश हित मे व प्रदेश की आर्थिकी को मजबूत करने की दिशा में मुफ्त की सभी सुविधाओं को बन्द कर देना चाहिए इसके बदले में सरकार को राज्य में लगातार बढ़ रही महंगाई को नियंत्रित रखने की सशक्त नीतियां लानी चाहिए जिसका सभी वर्गों को समान रूप से फायदा होगा। चौहान ने कहा कि हिमाचल प्रदेश सरकार को दिल्ली सरकार की तर्ज पर फ्री की सुविधायों को जारी नही करना चाहिए, क्योंकि दिल्ली राज्य में आय के बहुत स्त्रोत है इसलिए वो मुफ्त की सुविधाओं को देने में सक्षम है जबकि हिमाचल प्रदेश में आय के कोई अतिरिक्त स्त्रोत नही है और पहले से ही कर्जे के बोझ तले दबा हुआ है।
एल डी चौहान ने सरकार से मांग रखी है कि ग्रामीण क्षेत्रो में जारी मुफ्त पेयजल योजना को बन्द किया जाए तथा हर जल कनेक्शन पर मासिक रेन्ट निर्धारित करते हुए बिल जारी किए जाए ताकि राज्य की मजबूती हेतु आय हो सके। वर्तमान में ग्रामीण क्षेत्रो में लगभग 17 लाख 20 हजार के करीब वाटर कनेक्शन है यदि वर्तमान में एक कनेक्शन पर मासिक 50 रुपये भी निर्धारित किये जाते है जो कि पहले 34 रुपये 80 पैसे मासिक था, तो लगभग 8 करोड़ 60 लाख रुपया हर माह एकत्रित होगा इससे जहाँ राज्य की आर्थिकी मजबूत होगी वही किसी भी वर्ग के ऊपर कोई बोझ नही पड़ेगा तथा सब जल के महत्व को भी बखूबी समझने लगेंगे।
चौहान ने कहा कि हमे पूर्ण उम्मीद है कि रिसोर्स मोबलाइजेशन के तहत प्रदेश सरकार शीघ्र इस विषय पर निर्णय लेकर प्रदेश की आर्थिकी को मजबूत करेगी




